नई दिल्ली
केंद्रीय मंत्रिमंडल ने बुधवार को फूड प्रॉसेसिंग इंडस्ट्री के लिए उत्पादन आधारित प्रोत्साहन (PLI) योजना को अनुमति दे दी है। केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक के बाद प्रेस कॉन्फ्रेंस में यह जानकारी दी। जावड़ेकर ने कहा कि लाभप्रदता को बढ़ाने, भारत को फूड प्रॉसेसिंग के मामले में एक ब्रांड के रूप में तैयार करने और रोजगार के अवसरों में बढ़ोत्तरी को सुनिश्चित करने के लिए यह निर्णय लिया गया है। प्रेस कॉन्फ्रेंस में केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल भी उपस्थित थे। उन्होंने बताया कि मंत्रिमंडल ने फूड प्रॉसेसिंग इंडस्ट्री के लिए पीएलआई स्कीम के तहत इंसेंटिव/सब्सिडी के रूप में 10,900 करोड़ रूपये को मंजूरी दी है। गोयल ने कहा, 'फूड प्रॉसेसिंग इंडस्ट्री के लिए पीएलआई स्कीम को मंजूरी देकर सरकार ने इस वित्त वर्ष को एक अच्छे कदम के साथ विराम देने का कार्य किया है। आगे भारत तेज गति से प्रगति करे व भारत किसानों के लिए आने वाले वर्षों में उनकी आमदनी बढ़ाने के नए तरीके ढूंढ़े, उसके लिए यह निर्णय लिया है।' गोयल ने कहा, 'कोविड के बावजूद देश के किसानों ने अर्थव्यवस्था में अपना अहम योगदान दिया। यह हमारे किसानों की क्षमता को प्रदर्शित करता है। नए कृषि कानून जब पास हुए, तो चिंता इस बात को लेकर थी कि किसानों की आमदनी कैसे बढ़ाई जाए। इसके लिए सरकार के पास जो भी विकल्प मौजूद हैं, उन्हें बरकरार रखते हुए अन्य नए विकल्पों पर भी काम किया जा रहा है।'
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता वाली केंद्रीय कैबिनेट ने इस योजना को अनुमति दी है, जिससे 2.5 लाख रोजगार पैदा करने, निर्यात में बढ़ोत्तरी करने और उपभोक्ताओं के लिए मूल्य वर्धित उत्पादों की व्यापक रेंज की उपलब्धता सुनिश्चित करने में मदद मिलेगी। इस योजना का उद्देश्य किसानों को उनके उत्पाद का बेहतर मूल्य प्रदान करने में मदद करना और कृषि उपज का अपव्यय कम करना है।
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